उत्तर-पूर्वी राज्य सिक्किम एक बार फिर प्राकृतिक आपदा की चपेट में है। बीते कुछ दिनों से जारी मूसलाधार बारिश और भूस्खलन ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। हालात इतने गंभीर हो चुके हैं कि राज्य के विभिन्न हिस्सों में करीब 1500 से अधिक पर्यटक फंसे हुए हैं, जबकि कई स्थानीय लोगों के लापता होने की सूचना है। राज्य प्रशासन और आपदा प्रबंधन विभाग लगातार राहत एवं बचाव कार्यों में जुटे हैं।
राष्ट्रीय राजमार्ग अवरुद्ध, संचार व्यवस्था ठप
लगातार हो रही बारिश के चलते सिक्किम के कई क्षेत्रों में भूस्खलन की घटनाएं सामने आई हैं। गंगटोक और नाथुला के बीच का राष्ट्रीय राजमार्ग-10 पूरी तरह बंद हो गया है, जिससे आवागमन बाधित हो गया है। इसके चलते सैंकड़ों वाहन फंसे हुए हैं। कई इलाकों में बिजली, मोबाइल नेटवर्क और इंटरनेट सेवा भी बाधित हो गई है, जिससे लोगों को संपर्क साधने में भारी कठिनाई हो रही है।
पर्यटक बोले: होटल में फंसे हैं, खाने-पीने की कमी
सिक्किम घूमने आए पर्यटकों ने बताया कि वे होटलों में फंसे हुए हैं और लगातार खाने-पीने की सामग्री की कमी हो रही है। कुछ क्षेत्रों में स्थानीय प्रशासन ने हेलिकॉप्टर से राहत सामग्री भेजने की तैयारी शुरू कर दी है। वहीं, सेना और ITBP की टीमें भी आवश्यकतानुसार सहायता प्रदान कर रही हैं।
प्रशासन की एडवाइजरी: अनावश्यक यात्रा से बचें
सिक्किम सरकार ने मौजूदा हालात को देखते हुए यात्रियों और पर्यटकों के लिए एडवाइजरी जारी की है। प्रशासन ने सभी से अपील की है कि वे फिलहाल राज्य की यात्रा टालें और स्थानीय प्रशासन के निर्देशों का पालन करें। साथ ही, राज्य के निवासियों को भी सतर्क रहने और भूस्खलन संभावित क्षेत्रों से दूर रहने की सलाह दी गई है।
मौसम विभाग का अलर्ट: अगले 48 घंटे और भारी
भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने अगले 48 घंटों तक तेज़ बारिश और तेज़ हवाओं की संभावना जताई है। इससे स्थिति और बिगड़ सकती है, जिसे देखते हुए राहत एजेंसियों को हाई अलर्ट पर रखा गया है।