झारखंड की राजनीति के स्तंभ और आदिवासी समाज की आवाज माने जाने वाले दिशोम गुरु शिबू सोरेन को आज अंतिम विदाई दी जाएगी। उनका अंतिम संस्कार रांची के पास नेमरा गांव में पूरे राजकीय सम्मान के साथ संपन्न होगा। देशभर से हजारों की संख्या में लोग इस जननायक को श्रद्धांजलि देने के लिए उमड़ पड़े हैं।
नेमरा में जुटेंगे दिग्गज नेता
शिबू सोरेन के अंतिम दर्शन और श्रद्धांजलि सभा में कांग्रेस नेता राहुल गांधी, पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, झारखंड बीजेपी अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी, राजद प्रमुख तेजस्वी यादव, जदयू के नीतीश कुमार, सहित कई क्षेत्रीय व राष्ट्रीय नेता शामिल होंगे। झारखंड की राजनीतिक और सामाजिक चेतना में गहरी छाप छोड़ने वाले दिशोम गुरु को अंतिम बार देखने के लिए आमजन भी भारी संख्या में नेमरा पहुंच रहे हैं।
राजकीय सम्मान के साथ विदाई
राज्य सरकार ने शोक संतप्त परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए राजकीय सम्मान में अंतिम संस्कार की घोषणा की है। पूरे नेमरा गांव और आसपास के क्षेत्र में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है। प्रशासन द्वारा भीड़ प्रबंधन और यातायात नियंत्रण के लिए विशेष व्यवस्थाएं की गई हैं।
राजनीतिक विरासत और योगदान
शिबू सोरेन न सिर्फ झारखंड आंदोलन के सबसे मजबूत चेहरों में से एक थे, बल्कि उन्होंने देश की संसद में भी आदिवासी हितों की मजबूत आवाज बुलंद की। वे झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के संस्थापक नेताओं में से रहे और तीन बार केंद्र सरकार में मंत्री भी रह चुके थे। उनकी राजनीति, आदिवासी संस्कृति, जल-जंगल-जमीन के लिए संघर्ष और सामाजिक न्याय की लड़ाई के लिए हमेशा याद की जाएगी।
दिशोम गुरु शिबू सोरेन का निधन झारखंड के लिए ही नहीं, पूरे देश के आदिवासी और हाशिए के समुदायों के लिए अपूरणीय क्षति है। नेमरा में आज उनकी अंतिम यात्रा न केवल एक नेता की विदाई है, बल्कि एक युग का अंत भी है।